महावीर हृदय रोग अस्पताल में हुई पहली बाईपास सर्जरी
महावीर हृदय रोग अस्पताल में गुरुवार को पहली बाईपास सर्जरी की गई। मरीज से इसके लिए कोई शुल्क नहीं लिया गया। 45 साल के सुधीर रजक की एंजियोग्राफी में हृदय की तीनों नस बंद पाई गई थी। अस्पताल के निदेशक डाॅ किशोर जोशी के नेतृत्व में आठ सदस्यीय चिकित्सा दल ने चार घंटे में सफलता पाई। डॉ जोशी ने बताया कि गरीबी से अभिशप्त सुधीर के पास आपरेशन के पैसे नहीं थे। मुख्यमंत्री चिकित्सा सहायता योजना के अलावा अस्पताल प्रबंधन की ओर से सारा खर्च वहन किया जा रहा है। मरीज को अस्पताल में भोजन निःशुल्क मुहैया कराया जाता है। 5 से 7 दिनों तक सघन चिकित्सकीय निगरानी में रखने के बाद मरीज को अस्पताल से छुट्टी मिलेगी।
निदेशक डॉ किशोर जोशी ने बताया कि महावीर हृदय रोग अस्पताल में एंजियोप्लास्टी, एंजियोग्राफी,
बच्चों के लिए डिवाइस क्लोजर, बच्चों के दिल में छेद अथवा नीलापन के लिए ओपन हार्ट सर्जरी, बड़ों के लिए हार्ट बाल्व सर्जरी, बाईपास सर्जरी आदि रियायती दरों पर उपलब्ध है। महावीर वात्सल्य अस्पताल की छठी मंजिल पर हृदय रोग अस्पताल का संचालन किया जा रहा है।